” पुष्टिमार्गीय सर्वज्ञ करुणा रस पूरित।
श्रेष्ठ फल प्रदाता च तस्मै श्री गुरुवे नम: !!
गुरु पूर्णिमा (व्यास जयंती) की समस्त सनातन वैष्णव सृष्टि को मंगल बधाई एवं शुभकामनाए..!
गुरु पूर्णिमा का विशेष महत्व ये की इसदिन व्यास जी का जनम दीन हे इसलिए मर्यादा में शिष्य गुरु स्वरुप का पूजन अर्चन वंदन करते हे खासकर इसदिन लेकिन पुष्टि परंपरा में नित्य गुरु स्वरुप श्रीवल्लभ की सेवा सेवक को करनी हे यह उसका धर्म हे पुष्टि में तो नित्य गुरु पूर्णिमा हे..!! फिरभी जो सेवक नित्यं सेवा नहीं पहुचता उन जीवो के लिए पुष्टि में ” पवित्रा बारस उत्सव ” ही गुरु पूर्णिमा के समान हे उसदिन शिष्य पु.गुरुजन को वर्ष की सेवा के रूप पवित्रा धराते हे मिश्री आरोगाते हे और भेट धरते हे और गुरुजनों से आशीर्वाद प्राप्त करते हे!! यह पुष्टि परम्परा हे!!अस्तु!!
आजके समय में लोग गुरु को मानते हे लेकिन गुरु के वचनों को नहीं मानते इसलिए जीवन में अशांति है!!
-गो.हरिराय(कड़ी)
Dandwat pranam j j …..
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